कॉन्स्टेबल पेपर लीक करने वालों की प्रॉपर्टी होगी सीज:नए कानून के तहत SOG करेगी काम; 8 की हुई गिरफ्तारी

विज्ञापन

Last Updated on 17, May 2022 by Sri Dungargarh News

श्रीडूंगरगढ़ न्यूज़  राजस्थान कॉन्स्टेबल भर्ती परीक्षा पेपर लीक मामले में SOG अब तक 8 लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है। 14 मई को हुई दूसरी पारी का पेपर आउट होने के बाद पूरे राज्य में हड़कंप मचा है। अब आरोपियों पर SOG नए कानून के तहत कार्रवाई करने वाली है। इनकी सम्पत्ति सीज की जाएगी। कम से कम 10 साल की सजा होगी। SOG के अधिकारियों ने मंगलवार दोपहर झोटवाड़ा स्थित दिवाकर पब्लिक स्कूल में भी सर्च किया है। स्कूल में लगे सीसीटीवी फुटेज को जब्त किया गया है। वहां काम करने वाले कर्मचारियों से भी पूछताछ की जा रही है।

ADG (SOG और ATS) अशोक राठौड़ ने बताया कि जानकारी मिलने पर कई जगहों पर दबिश दी गई थी। एक वायरल पेपर से मिले सबूतों को देखते हुए एक ऑपरेशन किया गया। आने वाले दिनों में और गिरफ्तारियां होंगी।

इनकी हो चुकी है गिरफ्तारी
ADG अशोक राठौड़ ने बताया कि 14 मई की दोपहर 1 बजकर 47 मिनट पर उनकी टीम को पेपर लीक होने की जानकारी मिली। वॉट्सऐप पर एक पेपर सामने आया है। उस पर लिखे नंबर पर जांच की तो दिवाकर स्कूल तक पहुंचे। SOG ने उसी दिन सेंटर पर दबिश दी। उसी शाम एग्जाम सेंटर से केंद्राधीक्षक प्रतापनगर मुरलीपुरा निवासी शालू शर्मा, सहायक अधीक्षक शालू के पति मुकेश, ग्रीन विहार निवासी कमल शर्मा, गोविंदगढ़ निवासी सत्यनारायण कुमावत, श्याम वाटिका निवासी रोशन कुमावत, TCS प्रतिनिधि सोनीपत निवासी राकेश, गुड़गांव निवासी विक्रम सिंह, स्ट्रांग रूम प्रभारी ASI रतनलाल को जांच के बाद एसओजी के अधिकारी थाने ले आए। इनसे पूछताछ चल रही है। मोहन फरार है।

यह खबर भी पढ़ें:-   उपचुनाव :तीनों सीटों पर हुआ 60.71 प्रतिशत मतदान , राजसमंद में दिखा सबसे ज्यादा उत्साह

इनकी गिरफ्तारी 17 मई को दिखाई गई है। ये परीक्षा TCS (टाटा कंसल्टेंसी सर्विस) ने कराई है।

PHQ की इन तैयारियों के बाद भी लीक हुआ पेपर

  • अभ्यर्थियों को रेंडेमली परीक्षा सेंटर दिया गया था।
  • अभ्यर्थियों के मूल निवास को छोड़ कर सेंटर दिया गया था।
  • मिलीभगत ना हो इस के लिए बड़े शहरों में सेंटर बनाए गए थे।
  • सेंटर बनाने के लिए बड़े स्कूलों को चुना गया।
  • पहली बार प्रश्न पत्र परीक्षा देने के बाद बाहर नहीं जाने देने की व्यवस्था की थी।
  • पेपर अलग-अलग शिफ्ट में भेजे गए थे।
  • कौन सा पेपर कहां जाएगा, इसका भी रेंडेमली सिलेक्शन किया गया।
  • पेपर बॉक्स पर कोड लगा हुआ था, जो बॉक्स खोलने से कुछ समय पहले ही दिए गए थे।
  • TCS कम्पनी की ओर से अन्य राज्यों के कर्मचारी लगाए गए। ताकि कोई गड़बड़ी न हो।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here